
पुरी के जगन्नाथ मंदिर के ऊपर पक्षियों का न उड़ना आज भी एक रहस्यमय तथ्य बना हुआ है। अधिकतर श्रद्धालु इसे भगवान जगन्नाथ की अद्भुत शक्ति और दिव्य चमत्कार मानते हैं। यह रहस्य उन कई खास बातों में से एक है, जो इस मंदिर को न सिर्फ अनोखा, बल्कि आस्था और आचरण का अद्वितीय केंद्र बनाते हैं।
धर्म डेस्क | National Khabar
पुरी स्थित जगन्नाथ मंदिर न केवल धार्मिक आस्था का केंद्र है, बल्कि इसके साथ जुड़े कई रहस्य आज भी लोगों को चौंकाते हैं। इन्हीं में से एक सबसे अनोखा रहस्य यह है कि मंदिर के ऊपर से न तो कोई पक्षी उड़ता है और न ही कोई हवाई जहाज़। इस बात को लेकर वर्षों से धार्मिक आस्था और वैज्ञानिक सोच के बीच चर्चा होती रही है।
धार्मिक मान्यता:
भक्तों का दृढ़ विश्वास है कि भगवान जगन्नाथ स्वयं भगवान विष्णु के अवतार हैं और उनके वाहन गरुड़ देव — जो पक्षियों के राजा माने जाते हैं — इस मंदिर की रक्षा करते हैं। ऐसी मान्यता है कि जब गरुड़ देव स्वयम् मंदिर की निगरानी कर रहे हों, तो कोई भी पक्षी वहाँ से उड़ान भरने की हिम्मत नहीं करता, चाहे वह सम्मानवश हो या डर के कारण। कई भक्त इसे भगवान की चमत्कारी लीला और मंदिर की दिव्यता का प्रमाण मानते हैं।
एक दैवीय ‘नो-फ्लाई ज़ोन’:
भक्तों की आस्था है कि जगन्नाथ मंदिर और इसके आसपास का क्षेत्र एक तरह का अदृश्य ‘नो-फ्लाई ज़ोन’ है, जो दैवीय शक्तियों द्वारा नियंत्रित होता है। मंदिर के ऊपर से कोई पक्षी उड़ता नज़र नहीं आता, और इस क्षेत्र में किसी हवाई जहाज की उड़ान भी दर्ज नहीं की गई है — यह बात इसे और रहस्यमय बना देती है।
संभावित वैज्ञानिक पहलू:
वैज्ञानिक दृष्टिकोण से देखें तो पुरी शहर सामान्य हवाई मार्गों पर स्थित नहीं है, इसलिए वहां से कोई हवाई जहाज़ उड़ते नहीं दिखते। इसके अलावा, मंदिर समुद्र तट के बहुत करीब स्थित है, जहां आमतौर पर तेज़ हवाएं चलती हैं — संभव है कि इन परिस्थितियों में पक्षियों के उड़ने में कठिनाई होती हो।
मंदिर के शिखर पर स्थित नीलचक्र, जो आठ धातुओं से मिलकर बना है, को लेकर एक मान्यता है कि यह चुंबकीय प्रभाव डालता है या वायरलेस संचार में हस्तक्षेप करता है। हालांकि, वैज्ञानिक तौर पर इसकी पुष्टि नहीं हुई है, और इसे ज़्यादातर अफवाह या मिथक के रूप में ही देखा जाता है।
जगन्नाथ मंदिर के ऊपर पक्षियों और विमानों का न उड़ना एक ऐसा रहस्य है जो आज भी भक्तों को आस्था से जोड़ता है और विज्ञान को चुनौती देता है। यह रहस्य मंदिर की दिव्यता, संरचना और वातावरण — इन सभी का अद्भुत सम्मिलन प्रतीत होता है, जो इसे एक चमत्कारी और अद्वितीय स्थान बनाता है।
Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी धार्मिक मान्यताओं पर आधारित है। नेशनल ख़बर इसकी पुष्टि नहीं करता है।