
नीम करोली बाबा के कैंची धाम से मिट्टी लेकर आते हैं, तो उससे जुड़ा एक विशेष उपाय रोजाना जरूर करें। यह उपाय आपके जीवन से परेशानियों को दूर करने में मदद करेगा और साथ ही आपके घर-परिवार में सुख, शांति और समृद्धि बनी रहेगी। इस मिट्टी में बाबा की कृपा और आशीर्वाद समाया होता है, जो जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है।
धर्म डेस्क | National Khabar
उत्तराखंड के नैनीताल जिले में स्थित नीम करोली बाबा का कैंची धाम एक अत्यंत पवित्र और दिव्य ऊर्जा से भरपूर स्थान माना जाता है।
भक्तों का अटूट विश्वास है कि नीम करोली बाबा भगवान हनुमान के अवतार थे और उनके चरणों की पावन धरा — कैंची धाम — में ऐसी चमत्कारी शक्ति है जो जीवन की सभी परेशानियों को दूर कर सकती है।
कैंची धाम की मिट्टी को बेहद पवित्र माना जाता है। भक्त मानते हैं कि इसमें बाबा का आशीर्वाद और दिव्य ऊर्जा समाहित है।
अगर इस मिट्टी को श्रद्धा और विश्वास के साथ घर लाकर, उससे जुड़ा एक विशेष उपाय किया जाए, तो
दुख, बीमारियां और जीवन की बाधाएं स्वतः दूर हो जाती हैं।
यह मिट्टी सिर्फ धूल नहीं, बल्कि आस्था, विश्वास और चमत्कार का प्रतीक है।
अगर आप नीम करोली बाबा के कैंची धाम की यात्रा करते हैं, तो वहां से थोड़ी-सी शुद्ध मिट्टी ज़रूर लेकर आएं। इसे किसी पवित्र स्थान से चुनें और पूरी श्रद्धा के साथ साफ कपड़े या छोटी सी पोटली में सुरक्षित रखें।
यदि आप स्वयं वहां नहीं जा सकते, तो किसी विश्वसनीय व्यक्ति से निवेदन करें जो धाम की यात्रा पर जा रहा हो, या फिर किसी भरोसेमंद ऑनलाइन माध्यम से इसे मंगाने का प्रयास करें।
हालांकि मान्यता है कि यदि मिट्टी स्वयं जाकर श्रद्धा से लाई जाए, तो उसका प्रभाव और भी अधिक दिव्य और फलदायी होता है।
घर लौटने के बाद कैंची धाम की पवित्र मिट्टी को एक साफ और शुद्ध पात्र में सावधानीपूर्वक रखें।
इस्तेमाल करने से पहले आप चाहें तो इस मिट्टी पर गंगाजल या शुद्ध जल की कुछ बूंदें छिड़क सकते हैं, ताकि यह और अधिक पवित्र और ऊर्जावान हो जाए।
फिर शांत मन से नीम करोली बाबा और अपने इष्टदेव (विशेषकर भगवान हनुमान) का ध्यान करें,
और श्रद्धा से उनके मंत्रों का जाप करें।
रोजाना माथे पर लगाएं तिलक
प्रत्येक दिन (या जब भी संभव हो), स्नान के बाद कैंची धाम की पवित्र मिट्टी का एक छोटा सा अंश लेकर उसे माथे पर तिलक के रूप में लगाएं।
तिलक करते समय मन ही मन इनमें से कोई भी मंत्र श्रद्धा से जपें:
- “जय हनुमान ज्ञान गुन सागर, जय कपीस तिहुं लोक उजागर”
- “श्री राम जय राम जय जय राम”
- या फिर “जय नीम करोली बाबा की”
इसके बाद सच्चे मन से बाबा नीम करोली महाराज से अपनी समस्याओं, दुखों और बीमारियों के निवारण हेतु प्रार्थना करें।
पूर्ण आस्था और विश्वास के साथ यह छोटा-सा तिलक आपके जीवन में सुख, शांति और समाधान लेकर आएगा।
बाबा की कृपा से कोई भी कष्ट स्थायी नहीं रहता।
जीवन में मिलते हैं ये लाभ
ऐसा विश्वास किया जाता है कि कैंची धाम की मिट्टी में नीम करोली बाबा का आशीर्वाद और गहन सकारात्मक ऊर्जा समाई होती है। जब इस मिट्टी को माथे पर तिलक के रूप में लगाया जाता है, तो यह नकारात्मक विचारों और ऊर्जा को दूर करती है।
कई भक्तों का अनुभव है कि इस पवित्र मिट्टी के प्रयोग से शारीरिक कष्ट और बीमारियां धीरे-धीरे कम होने लगती हैं या पूरी तरह समाप्त हो जाती हैं। यह मिट्टी एक प्रकार की प्राकृतिक औषधि की तरह कार्य करती है, जो पूरी तरह आस्था और श्रद्धा पर आधारित है।
इसका नियमित प्रयोग मन को शांति, विचारों को स्थिरता और आत्मा को सुकून देता है।
चिंताएं कम होती हैं और व्यक्ति के भीतर आत्मविश्वास बढ़ता है।
जब कोई व्यक्ति इसे सच्चे मन और अटूट विश्वास के साथ अपनाता है, तो उसकी मनोकामनाएं पूर्ण होने लगती हैं।
कहा जाता है कि यह मिट्टी केवल धरती की धूल नहीं, बल्कि बाबा नीम करोली महाराज की जीवंत उपस्थिति का प्रतीक है — और उनके सीधे आशीर्वाद का माध्यम भी।
Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी धार्मिक मान्यताओं पर आधारित है। नेशनल ख़बर इसकी पुष्टि नहीं करता है।