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कांवड़ तोड़ना पड़ सकता है महंगा, हो सकती है 3 साल की जेल, पुलिस करेगी सख्त कार्रवाई

कांवड़ यात्रा जल्द ही शुरू होने वाली है। पिछले कुछ वर्षों में यात्रा के दौरान कांवड़ खंडित करने की कई घटनाएं सामने आई हैं। लेकिन इस बार शिवभक्तों की आस्था से खिलवाड़ करने वालों को किसी भी सूरत में छोड़ा नहीं जाएगा।

धर्म डेस्क | National Khabar

सावन का पावन महीना शुरू होने वाला है और इसके साथ ही कांवड़ यात्रा का भी शुभारंभ हो जाएगा। हर साल बड़ी संख्या में शिवभक्त कांवड़िए हरिद्वार और अन्य तीर्थस्थलों से गंगाजल लेकर अपने-अपने गंतव्यों की ओर रवाना होते हैं। हालांकि, पिछले कुछ वर्षों में यात्रा के दौरान कांवड़ को खंडित करने की कई घटनाएं सामने आईं, जिससे श्रद्धालुओं में भारी आक्रोश देखने को मिला। इसी को ध्यान में रखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की पहल पर इस बार कांवड़ यात्रा को शांतिपूर्ण और सुरक्षित ढंग से संपन्न कराने के लिए कई सख्त नियम बनाए गए हैं। अब अगर कोई शिवभक्तों की कांवड़ को खंडित करता है, तो उसे किसी भी हालत में बख्शा नहीं जाएगा और उस पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

आस्था से खिलवाड़ पर होगी कड़ी कार्रवाई

मेरठ के वरिष्ठ अधिवक्ता और शोभित विश्वविद्यालय के प्रोफेसर चौधरी कुलदीप सिंह ने बताया कि भले ही कांवड़ को नुकसान पहुंचाने के लिए कोई अलग से विशेष कानून नहीं है, लेकिन यह मामला सीधे धार्मिक आस्था से जुड़ा हुआ है। यदि कोई व्यक्ति जानबूझकर इस तरह का कृत्य करता है और उसके खिलाफ शिकायत दर्ज होती है, तो भारतीय दंड संहिता (IPC) के तहत धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के अपराध में मामला दर्ज हो सकता है। दोष सिद्ध होने पर आरोपी को तीन साल तक की सजा हो सकती है।

किन धाराओं में दर्ज होगा केस?

चौधरी कुलदीप सिंह के मुताबिक, भारतीय कानून की धाराएं 298, 299 और 300 ऐसी घटनाओं पर कार्रवाई करने की इजाजत देती हैं। अगर कोई व्यक्ति जानबूझकर और बुरी नीयत से किसी की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए कुछ बोलता, इशारा करता या कोई काम करता है, तो यह अपराध माना जाता है। कांवड़ भी आस्था का प्रतीक है, इसलिए इसे नुकसान पहुंचाने पर भी इन्हीं धाराओं के तहत केस दर्ज हो सकता है।

प्रशासन भी रहेगा सतर्क

उन्होंने बताया कि स्थानीय प्रशासन भी शहर की शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए अपने अधिकारों के तहत कार्रवाई कर सकता है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी अपने निर्देशों में स्पष्ट कर दिया है कि यात्रा के दौरान समाज में द्वेष फैलाने और आस्था से खिलवाड़ करने वालों के खिलाफ कठोर कदम उठाए जाएंगे।

इस खबर में दी गई जानकारी धार्मिक मान्यताओं और परंपराओं पर आधारित है। नेशनल ख़बर इसकी सत्यता की पुष्टि नहीं करता।

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